लखनऊ सुपर जायंट्स और रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर के बीच 1 मई को खेला गया मुकाबला अब तक सुर्खियों में बना हुआ है। जिसकी वजह है मुकाबले में कोहली और गंभीर के बीच हुई नोकझोंक। दोनों खिलाड़ियों के बीच हुई इस बहस के बाद पूर्व खिलाड़ी अपने-अपने हिसाब से दोनों खिलाड़ियों के बीच हुई झड़प की आलोचना कर रहे हैं।
हालांकि, खेले गए मुकाबले में बैंगलोर ने लखनऊ को उसके घर पर 18 रनों से हराकर, चिन्नास्वामी में मिली करीबी हार का हिसाब चुकता कर लिया है। लखनऊ में खेले गए उस मुकाबले में हुई बहस के बाद BCCI ने कड़ा एक्शन लेते हुए लड़ाई में शामिल तीनों खिलाड़ियों पर जुर्माना लगाया।
बता दें कि बैंगलोर के बल्लेबाज विराट कोहली और लखनऊ के मेंटोर गौतम गंभीर पर मैच फीस का 100 फीसदी जुर्माना लगाया गया। वहीं लखनऊ के अफगानी तेज गेंदबाज नवी उल हक पर मैच फीस का 50 फीसदी जुर्माना लगा।
खिलाड़ियों को अपने जेब से नहीं देना होता जुर्माना
तीनों खिलाड़ियों पर लगे जुर्माने को लेकर लोगों में उत्सुकता है कि खिलाड़ी को जुर्माना कैसे भरना होगा और यह पैसे वो अपनी सैलरी में देंगे या नहीं। इन सब सवालों के बीच क्रिकबज की एक रिपोर्ट आई है, जिसमें बैंगलोर टीम के एक सूत्र के मुताबिक कहा गया हैं कि, 'यह जुर्माना खिलाड़ी की जगह टीम फ्रेंचाईजी भरेगी। आईपीएल में यह चलन है जिसके तहत ज्यादातर फ्रेंचाइजियां ही अपने खिलाड़ियों के जुर्माने का भुगतान करती है।'
उन्होंने आगे बताया कि, 'खिलाड़ी टीम के खातिर ही लाइन पार करता है। इसलिए फ्रेंचाइजियों का फर्ज बनता है कि वो खिलाड़ी पर आए फाइनेंसियल बोझ को खुद उठाए।'
बता दें कि आईपीएल में इंटरनेशनल मैचों की तरह मैच फीस नहीं होती है। इसमें हर खिलाड़ी की मैच फीस ऑक्शन में लगी उसकी कीमत और उस सीजन में उसके खेले गए मुकाबलों से तय होती है। इसको एक उदाहरण से समझ सकते हैं, जैसे विराट कोहली को बैंगलोर ने 15 करोड़ में रिटेन किया था। मतलब विराट को एक सीजन के खेले जाने वाले 14 मुकाबलों के लिए 15 करोड़ रुपये दिए जाएंगे। इस हिसाब से विराट को हर एक मैच ले लिए करीब 1 करोड़ से ज्यादा मैच फीस मिलेगी। बता दें कि कोई भी टीम नहीं चाहती की खिलाड़ी पर लगने वाला जुर्माना उसकी वास्तविक सैलरी में से लगे।