भारत और इंग्लैंड के बीच पांचवा पुनर्निर्धारित टेस्ट मैच 1 जुलाई से शुरू हो चुका है। इंग्लैंड की तरफ से कप्तानी बेन स्टोक्स कर रहे हैं तो भारत की तरफ से रोहित शर्मा के कोरोना संक्रमित होने के बाद जसप्रीत बुमराह कप्तान बने हैं। इंग्लैंड ने टॉस जीतकर गेंदबाजी का फैसला किया था। भारत की टॉप ऑर्डर बल्लेबाजी इंग्लैंड के सामने बिखरती नजर आई लेकिन तभी ऋषभ पंत ने क्रीज पर आकार बल्ले से ताबड़तोड़ रन बरसाना शुरू कर दिए और इंग्लैंड के गेंदबाजों को परेशानी में डाल दिया। जडेजा ने भी पंत का साथ अच्छे से निभाया और दूसरी छोर से टीके रहे। ऋषभ पंत ने 89 गेंदों में शतक लगाया और टीम में 146 रनों का योगदान दिया। दिन के अंत तक जडेजा टीके रहे और बोर्ड पर 338 रनों का लक्ष्य खड़ा कर दिया। पंत और जडेजा ने मिलकर 222 रनों की पार्टनरशिप की।
पंत ने इंटरव्यू में बताई धुआंधार बल्लेबाजी की वजह
पंत ने जिस तरह से इंग्लैंड के खतरनाक गेंदबाजों को अपने छक्के-चौके से डराया उसके बाद से लोग एक के बाद एक करके उनकी तारीफ करने से पीछे नहीं हट रहे हैं। पंत से जब उनके धुआंधार बल्लेबाजी के बारे में सवाल किया गया तो उन्होंने बताया की जिस तरह की गेंदबाजी हो रही थी उसमें बल्लेबाजी करना मुश्किल था इसलिए उन्होंने जीतना हो सके उतना क्रीज के आसपास घूमने की कोशिश की।
पंत ने एंडरसन की खतरनाक गेंदबाजी पर बोला कि, "इंग्लैंड जैसे परिस्थिति में अगर गेंदबाज आपको एक ही जगह पर गेंद डालकर परेशान कर रहा तो मेरे हिसाब से आप उसे परेशान करना शुरू कर दें। मैंने यह सोचकर ही ऐसी बल्लेबाजी की कि मुझे एक ही तरह का क्रिकेट नहीं खेलना जो सब खेल रहे, की क्रीज के आगे और पीछे जाओ। मैंने क्रीज का अच्छे से इस्तेमाल करने की कोशिश की और यह चीज मेरे लिए और टीम के लिए अच्छी साबित हुई।"
मैं हमेशा अपना 100 प्रतिशत देने की कोशिश करता हूँ
पंत ने आगे कहा कि, "एक खिलाड़ी के तौर पर मैं टीम में अपना 100 प्रतिशत देने के कोशिश करता हूँ। मैं जानता हूँ की मैं कभी बहुत अलग शॉट्स खेलता हूँ लेकिन उसमें मैं अपनी पूरी कोशिश करता हूँ। अगर मुझे लगता है मुझे एक गेंद को हिट करना है या दूसरा शॉट खेलना है तो मैं गेंद को हिट करने की कोशिश करूंगा।"