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(Image Credit Eventraveler)
पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड ने देश में अंडर-16 और अंडर-13 राष्ट्रीय टूर्नामेंटों को उम्र में फर्जीवाड़े के कारण स्थगित कर दिया है। अब आगे पीसीबी द्वारा आयु सत्यापन के लिए बोन टेस्ट किया जाएगा। पीसीबी के हाई परफार्मेंस निदेशक नदीम खान ने कहा कि विजुअल एसेसमेंट में साफ हुआ कि खिलाड़ी अधिक उम्र के थे और इस आयोजन को स्थगित करना सही विकल्प था।
नदीम खान ने ईएसपीएन क्रिकइन्फो के हवाले से कहा, "विजुअल एसेसमेंट के बाद पुष्टि हुई कि कुछ अधिक उम्र के क्रिकेटर अंडर -13 और अंडर -16 टूर्नामेंट में भाग ले रहे थे। इसलिए आयोजन को स्थगित करना और नए सिरे से बोन टेस्ट करना बिल्कुल सही तरीका था।"
पीसीबी सिस्टम की खामियों का फायदा उठाने नहीं देगा
नदीम खान ने यह भी कहा कि पीसीबी इन अधिक उम्र के खिलाड़ियों को सिस्टम में मौजूद खामियों का फायदा उठाने की अनुमति नहीं देगा और योग्य क्रिकेटरों को मौका देगा।
नदीम ने कहा, "पीसीबी अधिक उम्र के क्रिकेटरों को सिस्टम की खामियों का फायदा उठाने और कम उम्र के क्रिकेटरों के साथ-साथ उनके माता-पिता को डिमोटिवेशन और मानसिक तनाव का कारण बनने की अनुमति नहीं दे सकता है।"
उम्र को गलत बताना एक अपराध है
नदीम खान ने यह भी कहा कि टूर्नामेंट में भाग लेने के योग्य बनने के लिए झूठी उम्र बताना एक खतरा है, जिसने पाकिस्तान क्रिकेट को कष्ट दिया है। उन्होंने माना कि इस प्रथा को रोकने की जरूरत है ताकि पीसीबी द्वारा आयोजित टूर्नामेंट की अखंडता की रक्षा की जा सके। उन्होंने यह भी कहा कि आगे के टूर्नामेंटों में इन अधिक उम्र के क्रिकेटरों के भविष्य की भागीदारी के बारे में निर्णय लिया जाएगा।
उन्होंने कहा, 'आयु वर्ग के क्रिकेट में भाग लेने के योग्य बनने के लिए उम्र को गलत बताना न केवल एक अपराध है, बल्कि एक खतरा है, जो हमारे सिस्टम को कष्ट दे रहा है। टूर्नामेंट की अखंडता की रक्षा के साथ-साथ युवा प्रतिभाशाली क्रिकेटरों के पलायन को रोकने के लिए अब इसे ठीक करने की आवश्यकता है।'